Edited By Punjab Kesari,Updated: 14 Feb, 2018 12:30 PM
एक तरफ योगी सरकार यूपी बोर्ड की परीक्षा को नकलविहीन बनाने की कोशिश में जुटी है, लेकिन ताजनगरी आगरा में एक एेसा मामला सामने आया है। जहां योगी सरकार के नकलविहीन परीक्षा के सारे दावे फैल साबित हो रहे हैं..
आगराः एक तरफ योगी सरकार यूपी बोर्ड की परीक्षा को नकलविहीन बनाने की कोशिश में जुटी है, लेकिन ताजनगरी आगरा में एक एेसा मामला सामने आया है। जहां योगी सरकार के नकलविहीन परीक्षा के सारे दावे फैल साबित हो रहे हैं।
दरअसल आगरा में एक परीक्षा केंद्र पर सामूहिक नकल का वीडियो वायरल हो रहा है। इस वीडियो में ड्यूटी पर तैनात शिक्षक ही छात्रों को नकल की पर्चियां दे रहा है। सबसे हैरानी की बात तो यह है कि ये सामूहिक नकल उड़नदस्तों और मजिस्ट्रेटों को स्कूल पर नहीं मिली, यह तब मिली जब स्कूल की सीडी जमा हुई। वहीं इस नकल की सीडी के सामने आते ही शिक्षा विभाग में हड़कंप मचा हुआ है।
जानकारी के मुताबिक मामला महात्मा कपिलदेव इंटर कालेज, अरहेरा (सेंटर कोड 1091) का है। जहां शाम को परीक्षा की सीडी जमा हुई तो उसमें कुछ एेसा दिखा कि जिससे शिक्षा विभाग के होश उड़ गए।
बता दें कि इस सीडी में खुद कक्ष निरीक्षक परीक्षा के दौरान छात्रों को नकल की पर्चियां देता हुआ दिख रहा है। नकल के लिए परीक्षार्थी भी एक दूसरे की सीट पर जाकर प्रश्नों के उत्तर भी बता रहे हैं। सामूहिक नकल के इस वीडियो में मौजूदा स्टाफ एक परीक्षार्थी की उत्तर पुस्तिका में देखकर कुछ बताते भी हैं। कंट्रोल रूम में रिकार्डिंग देखे जाने के बाद कंट्रोल रूम प्रभारी ने जिला विद्यालय निरीक्षक को रिकार्डिंग देने के लिए रिपोर्ट तैयार कर ली है। इसमें केंद्र पर नकल कराए जाने की बात कही गई है।
इस संदर्भ में जिला विद्यालय निरीक्षक डा. विनोद कुमार राय ने बताया कि अभी सीसीटीवी फुटेज देखी नहीं है। यदि कैमरे में नकल कैद हुई होगी तो केंद्र व्यवस्थापक के खिलाफ मामला दर्ज कराया जाएगा। परीक्षा केंद्र को डिबार करने की संस्तुति की जाएगी।
बताते चले कि आगरा में बोर्ड परीक्षा को नकलविहीन करने के लिए 195 मजिस्ट्रेट लगाए गए हैं। 187 परीक्षा केन्द्रों में से 141 संवेदनशील और अतिसंवेदनशील परीक्षा केंद्रों पर स्टेटिक मजिस्ट्रेट पूरे समय बैठकर परीक्षा करा रहे हैं। 34 सेक्टर मजिस्ट्रेट, 13 जोनल मजिस्ट्रेट और 7 सुपर जोनल मजिस्ट्रेट लगाए गए हैं। 32 केंद्रों की सूची एसटीएफ के पास भी है। इसके बाद भी सामूहिक नकल मिलना शिक्षा विभाग की नाकामी है।