Edited By ,Updated: 15 Oct, 2016 05:24 PM
पडोसी राज्य उत्तराखंड में राज्य विधानसभा चुनाव में जोरदार मौजूदगी दर्ज कराने के इरादे से बहुजन समाज पार्टी (बसपा) अध्यक्ष ...
लखनऊ: पडोसी राज्य उत्तराखंड में राज्य विधानसभा चुनाव में जोरदार मौजूदगी दर्ज कराने के इरादे से बहुजन समाज पार्टी (बसपा) अध्यक्ष मायावती ने शनिवार यहां बैठक कर चुनाव तैयारियों की समीक्षा की और जरूरी दिशा निर्देश दिए। मायावती ने उत्तराखण्ड के प्रदेश, जिला और विधानसभा स्तर के पदाधिकारियों के साथ बैठक कर उत्तराखण्ड की मौजूदा राजनीतिक व चुनावी परिदृश्य पर चर्चा की और वहां उभरने वाले नए चुनावी समीकरण के लिहाज से तैयारी पर बल दिया।
उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड में भी बसपा के लिए अपार संभावनाएं मौजूद हैं। राज्य के बंटवारे से पहले मतलब नया उत्तराखण्ड राज्य बनने से पहले संयुक्त उत्तर प्रदेश में बसपा के शासनकाल में वहां के क्षेत्रों के सम्पूर्ण व समग्र विकास एवं व्यापक जनहित को ध्यान में रखकर अनेकों ऐतिहासिक फैसले लिये गए थे, जिनमें नए जिलों व तहसीलों का निर्माण शामिल है। इसके अलावा बसपा ने हाल ही में वहां सम्पन्न स्थानीय निकाय के चुनाव में भी अच्छे परिणाम दिखाएं हैं, जो वहां पार्टी के जनाधार को साबित करता है, मगर इसे और भी ज्यादा व्यापक व मजबूती प्रदान करने की जरूरत हैं।
बसपा अध्यक्ष ने कहा कि उत्तराखण्ड के लोग कांग्रेस व भाजपा के $गलत कार्यकलापों से काफी ज्यादा दुखी हैं। बारी बारी से रही इन दोनों पार्टियों की सरकारों में राज्य के संसाधनों की व्यापक लूट खसोट हुयी है तथा जनहित व जनकल्याण के काम लोगों की अपेक्षाओं के अनुरूप बहुत ही कम हुये हैं। साथ ही, गरीबों, शोषितों, दलितों व अन्य दबे-कुचले लोगों के हित व कल्याण पर ध्यान नहीं दिया गया है। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही सत्ताधारी कांग्रेस और के भीतर अन्दरुनी घमासान व जबर्दस्त गुटबाजी एवं जात-पात की राजनीति होने की वजह से भी प्रदेश की जनता काफी आहत है। इसका लाभ वहाँ होने वाले विधानसभा चुनाव में उठाया जा सकता है और बसपा मजबूत दल बनकर उभर सकती है। कार्यकर्ताओं को आगाह करते हुये बसपा सुप्रीमो ने कहा कि इसके लिये $खास शर्त यह है कि कार्यकर्ता पूरी तन्मयता व तन, मन, धन से काम करके पार्टी के संगठन को और भी का्यादा मजबूत बनाये और सर्वसमाज में पार्टी के जनाधार को और ज्यादा बढ़ायें।