Edited By ,Updated: 12 Feb, 2017 07:33 PM
केन्द्रीय मंत्री उमा भारती अपने उस विवादास्पद बयान पर अडिग रहीं जिसमें उन्होंने कहा था कि बलात्कारियों को तब तक पीटा जाना चाहिए जब तक कि उनकी चमड़ी उधड़ नहीं जाती।
नई दिल्ली\लखनऊ:केन्द्रीय मंत्री उमा भारती अपने उस विवादास्पद बयान पर अडिग रहीं जिसमें उन्होंने कहा था कि बलात्कारियों को तब तक पीटा जाना चाहिए जब तक कि उनकी चमड़ी उधड़ नहीं जाती। उन्होंने जोर दिया कि महिलाओं के साथ अपराध करने वालों के पास मानवाधिकार नहीं हैं क्योंकि वे ‘मानव नहीं हैं।’
मौका मिले तो वह दोषियों को ‘कड़ी से कड़ी’ सजा दें
एक अंग्रेजी दैनिक को लिखे एक पत्र में केन्द्रीय जल संसाधन मंत्री ने कहा कि उन्हें उन लोगों के प्रति ‘रत्ती भर भी रहम’ का एहसास नहीं है जो महिलाओं के साथ गलत काम करते हैं। उन्होंने दावा किया कि यदि उन्हें मौका मिले तो वह दोषियों को ‘कड़ी से कड़ी’ सजा दें। वरिष्ठ भाजपा नेता ने यह भी कहा कि वह उन पुलिसकर्मियों के नाम का खुलासा नहीं करेंगी जिन्होंने उस काल में जब वह मध्य प्रदेश की मुख्यमंत्री थीं, उनके निर्देश पर इन ‘दोषियों’ के खिलाफ कार्रवाई की और वह इसके लिए दंड का सामना करने को तैयार हैं। उमा भारत 8 दिसंबर, 2003 से 22 अगस्त, 2004 के बीच मध्य प्रदेश की मुख्यमंत्री थीं।
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